सी प्लस प्लस क्या है हिन्दी मे c++ in hindi

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सी प्लस प्लस क्या है हिन्दी मे c++ in hindi

C++ का  इतिहास हिन्दी मे : history of c++ in hindi

सी प्लस प्लस क्या है हिन्दी मे c++ in hindi

सी प्लस प्लस क्या है हिन्दी मे : What is c++ in hindi

C++ एक हाई लेवल प्रोग्रामिंग लैंग्वेज है, जो कि Object Oriented Programming का Concept है। सी++ (C++) एक प्रोग्रामिंग भाषा है जो सी (C) भाषा का एक विस्तार है। इसे बीजर्न स्ट्रॉअस्ट्रुप (Bjarne Stroustrup) ने विकसित किया था। यह भाषा उच्च स्तरीय, संरचनात्मक, object sentence पर आधारित और जनरल-पर्पज कम्प्यूटिंग के लिए बहुत उपयोगी है।C++ Programming Language OOP(Object-Oriented Programming) Language, À LA ‘Simula’ ये भी OOP Language बनाई गयी थी ।

c++ Language बहुत ही उपयोगी लैंग्वेज है जिसका सी++ का उपयोग सॉफ्टवेयर विकास, गेम डेवलपमेंट, वेब विकास, एम्बेडेड सिस्टम्स, और कंप्यूटर ग्राफिक्स जैसे क्षेत्रों में किया जाता है। यह एक मजबूत, शक्तिशाली और पोर्टेबल भाषा है जो मल्टी-प्लेटफ़ॉर्म विकास को समर्थन करती है। C++ Programming Language & Middle Level Language |

c++ Language में श्रेणीबद्धीकरण, प्रायोजन, गतिविधियाँ, Updates और विरासत के संकल्प शामिल हैं। इसमें कक्षाएं (Classes) और ऑब्जेक्ट (Objects) की सिद्धांतों पर ध्यान दिया जाता है, जो डेटा और उनके साथ व्यवहार को संरचित करने की अनुमति देते हैं। इसके अलावा, यह फ़ंक्शन्स (Functions), नेमस्पेस (Namespaces), इनहेरिटेंस (Inheritance), ओवरलोडिंग (Overloading) और पॉलिमॉर्फिज़म (Polymorphism) जैसे कई प्रोग्रामिंग संरचनाएं प्रदान करता है।

c++ Language student के लिए C के संबंधित विषयों को अधिक पूर्णता से understand और इसका उपयोग करके विभिन्न प्रोजेक्ट्स को विकसित करने का एक अच्छा प्लेटफ़ॉर्म है। सी++language विभिन्न प्लेटफ़ॉर्मों पर समर्थित होता है और एक व्यापक समुदाय और संसाधन उपलब्ध कराता है जिससे विद्यार्थी और विकासक समुदाय कार्यक्षमता बढ़ा सकते हैं।

C++ का इतिहास हिन्दी मे : history of c++ in hindi

C++ का  इतिहास हिन्दी मे : history of c++ in hindi

history of c++ in hindi

“सी++” एक प्रोग्रामिंग भाषा (Programming Language) है जिसका विकास बजर्न स्ट्रौसट्रुप (Bjarne Stroustrup) ने किया। यह भाषा “सी” भाषा से आगे बढ़कर विकसित हुई है। “सी++” का विकास लगभग 1979 में शुरू हुआ था। Bjarne Stroustrup ने इसे तब बनाया था जब उन्हें अधिक शक्तिशाली और सुविधाजनक भाषा की आवश्यकता महसूस हुई। “सी++” ने सॉफ्टवेयर विकास के क्षेत्र में बहुत अद्वितीय प्रभाव डाला है।

इसमें उच्च स्तरीय(high-level) विशेषताएं जैसे कि क्लासेस, ऑब्जेक्ट्स, इंहेरिटेंस, पॉलिमॉर्फिज़म(class, material, inheritance, polymorphism ) और अधिक हैं। “सी++” विश्वभर में बड़ी तादाद में प्रोग्रामर्स द्वारा उपयोग की जाती है और यह आज भी बहुत महत्वपूर्ण है। इसका उपयोग विभिन्न क्षेत्रों में किया जाता है, जैसे सॉफ्टवेयर विकास, गेम डिज़ाइनिंग, सिस्टम सॉफ्टवेयर और बहुत कुछ। “सी++” एक शक्तिशाली और व्यापक प्रोग्रामिंग भाषा है जो प्रोग्रामर्स को विभिन्न कार्यों को सम्पन्न करने की सुविधा प्रदान करती है।

सी प्लस प्लस फीचर्स : C++ features

  1. Basic features

C++ एक high-level, general-purpose programming language है जो बहुत सारे ऐसे features provide करता है जो इसे आधुनिक, versatile और प्रभावी बनाते हैं। यह C language का extension है, जिसे Bjarne Stroustrup ने 1980s में develop किया। C++ को आमतौर पर systems programming, game development, GUI applications, और embedded systems में उपयोग किया जाता है।

  1. ऑब्जेक्ट-ओरिएंटेड प्रोग्रामिंग (Object-Oriented Programming)

C++ एक ऑब्जेक्ट-ओरिएंटेड programming language है, जिसका मतलब है कि यह अपने programs को objects के माध्यम से organize करता है। ऑब्जेक्ट-ओरिएंटेड programming का मुख्य लक्ष्य reusability, flexibility, और maintainability होता है। C++ में आप classes, objects, inheritance, polymorphism, और encapsulation के माध्यम से ऑब्जेक्ट-ओरिएंटेड programming का लाभ उठा सकते हैं।

  1. जनरिक प्रोग्रामिंग (Generic Programming)

जनरिक प्रोग्रामिंग का अर्थ होता है कि आप programs को ऐसे तरीके से लिखते हैं जिससे वे बहुत सारे डेटा types पर काम कर सकें, बिना उन्हें अलग-अलग implement करने की जरूरत के। C++ में, आप templates का उपयोग करके जनरिक प्रोग्रामिंग का लाभ उठा सकते हैं। Templates के माध्यम से, आप functions और classes को एक साथ design कर सकते हैं जो कि विभिन्न डेटा types के लिए काम करेंगे।

  1. संदर्भ पाठों (References)

C++ में, आप references का उपयोग करके variables को एक साथ बांध सकते हैं। References एक alias होते हैं जो कि variables को एक unique identity provide करते हैं। जब आप किसी reference को modify करते हैं, तो उससे जुड़े सभी variables में भी changes होते हैं। References के माध्यम से, आप कोड की सामरिकता (conciseness) बढ़ा सकते हैं और बगों (bugs) की संभावना को कम कर सकते हैं।

  1. एक्सेप्शन हैंडलिंग (Exception Handling)

C++ में, आप exceptions के साथ संबंधित errors को handle कर सकते हैं। Exceptions वे runtime errors होते हैं जो कि program की execution को interrupt कर सकते हैं। C++ में, आप try, catch, और throw की मदद से exceptions को handle कर सकते हैं। इसके लिए, आप अपने code में एक सुरक्षा layer add कर सकते हैं जो कि आपके programs को robust बनाए रखेगा।

C++ के लाभ और हानि क्या है ? What is advantage and disadvantage of C++?

Advantage

“सी++” object oriented programming language है ,”सी++” के कुछ महत्वपूर्ण लाभ हैं जो हमें इसे उपयोग करने के लिए प्रेरित करते हैं। पहला लाभ है कि यह एक उच्च स्तरीय प्रोग्रामिंग भाषा है जिसमें विभिन्न विशेषताएं हैं जैसे कि क्लासेस, ऑब्जेक्ट्स, इंहेरिटेंस, पॉलिमॉर्फिज़म,(class, material, inheritance, polymorphism) और अधिक, जो हमें विभिन्न प्रकार के सॉफ्टवेयर प्रोजेक्ट्स को सम्पन्न करने में मदद करती हैं। दूसरा लाभ है कि इसमें मजबूत मेमोरी प्रबंधन की सुविधा होती है,

जिससे हम प्रोग्राम को और सुरक्षित और निर्भरयोग्य बना सकते हैं। तीसरा लाभ है कि यह प्लेटफॉर्म निर्दिष्ट (platform-independent) है, यानी हम इसे विभिन्न ऑपरेटिंग सिस्टमों पर उपयोग कर सकते हैं। इसके अलावा, “सी++” में ग्राफिक्स और गेम डिज़ाइनिंग के लिए विशेष संरचनाएं भी हैं, जो उपयोगकर्ताओं को आकर्षक और मजबूत उपयोगरत इंटरफ़ेस प्रदान करती हैं। इन सभी लाभों के कारण, “सी++” एक प्रोग्रामर्स के लिए बहुत उपयोगी और प्रसन्नजनक भाषा है।

disadvantage

“सी++” के कुछ हानियाँ भी हैं जो हमें इसे उपयोग करते समय ध्यान में रखने की आवश्यकता है। पहला हानि है कि यह भाषा अधिक जटिल हो सकती है, जिससे नए प्रोग्रामर्स को इसका सीखना काफी मुश्किल हो सकता है। इसके साथ ही, लाइब्रेरी और फंक्शन की विशाल संख्या के कारण, प्रोग्रामर्स को उपयोगी संसाधनों का चुनाव करने में कठिनाई हो सकती है।

दूसरा हानि है कि “सी++” भाषा धीमी हो सकती है, जिससे प्रोजेक्ट्स का विकास अधिक समय ले सकता है। इसके अलावा, इसके द्वारा लिखे गए कोड को बदलने और संशोधित करने में कठिनाई हो सकती है। इन हानियों के बावजूद, “सी++” एक शक्तिशाली और व्यापक प्रोग्रामिंग भाषा है जो उपयोगकर्ताओं को धेर सारे सुविधाएं प्रदान करती है।

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CONCLUSION :-

आज के इस आर्टिकल मे हमने सी प्लस प्लस क्या है हिन्दी मे c++ in hindi , what is c++ in hindi ,c++ tutorial, के बारे मे विस्तार  से जाना  आशा  है की यह ARTICAL आप के लिए HELPFUL रहा होगा | अगर यह ARTICAL आप को पसंद आया हो तो इसे अपने दोस्तों  के साथ SHARE जरूर करे | आप हमे COMMENT के माध्यम से सुझाव दे सकते है आप हमे Email-id studentinsidelibarary013@gmail.com पर अपने सुझाव दे सकते है |

FAQs

1. सी प्लस प्लस क्या है?

सी प्लस प्लस (C++) एक उच्च स्तरीय प्रोग्रामिंग भाषा है जिसकी विशेषता और शक्ति की वजह से प्रसिद्ध है। यह पॉपुलर सी प्रोग्रामिंग भाषा का एक विस्तार है और इसमें विशेषताएं शामिल हैं जो इसे जटिल सॉफ्टवेयर विकास के लिए उपयुक्त बनाती हैं।

2. C++ को C से कैसे अलग किया जाए?

सी प्लस प्लस सी भाषा का विस्तार होता है, लेकिन यह कई अतिरिक्त विशेषताएं प्रस्तुत करती है। सी प्लस प्लस में वस्तु-ओरिएंटेड प्रोग्रामिंग (OOP) कॉन्सेप्ट्स, जैसे कक्षाएं और वारसता, का समर्थन होता है, जो सी में उपलब्ध नहीं है। इसके अलावा, सी प्लस प्लस में उदाहरण व्यवस्थापन, टेम्पलेट्स, और एक मानक पुस्तकालय जैसी विशेषताएं हैं जो इसकी क्षमता को बढ़ाती हैं।

3. C++ का उपयोग करने के क्या फायदे हैं?

सी प्लस प्लस कई फायदे प्रदान करता है जो इसे डेवलपर्स के बीच लोकप्रिय बनाते हैं|

  • Efficiency- सी प्लस प्लस की सहायता से कोड को कम समय में और कम संसाधनों का उपयोग करके प्रभावी बनाया जा सकता है। सी प्लस प्लस द्वारा लिखा गया कोड विभिन्न प्लेटफॉर्मों पर चल सकता है।
  • Object-Oriented Programming- सी प्लस प्लस OOP प्रिंसिपल्स का समर्थन करता है, जो कोड की पुनःप्रयोगीकरण करने, कोड को अच्छी तरह से संरचित करने, और पुनर्निर्माण को आसान बनाने में मदद करता है।

4. C++ के विभिन्न उपयोग क्षेत्र क्या हैं?

सी प्लस प्लस का उपयोग विभिन्न क्षेत्रों में होता है, जैसे:

  • application development- सी प्लस प्लस का उपयोग विभिन्न ऐप्लिकेशन विकास के लिए होता है, जैसे कि व्यावसायिक सॉफ्टवेयर, आईओटी ऐप्स, ग्राफिक्स प्रोग्रामिंग, और विजुअल एफएक्स ऐप्लिकेशन।
  • Game Development- सी प्लस प्लस में समर्पित गेम डेवलपमेंट के माध्यम से, आप उच्च-स्तरीय ग्राफिक्स, फिजिक्स सिमुलेशन, और गेम लॉजिक को निर्माण कर सकते हैं।
  • Operating System- कई ऑपरेटिंग सिस्टम, जैसे लिनक्स, विंडोज, और मैकओएस, में सी प्लस प्लस का उपयोग किया जाता है।

5. सी प्लस प्लस सीखने के लिए कौनसी संसाधनें हैं?

सी प्लस प्लस सीखने के लिए कई उपयोगी संसाधनें उपलब्ध हैं, जैसे आप ऑनलाइन ट्यूटोरियल, बुक्स, और वेबसाइट्स का सहारा ले सकते हैं। कुछ प्रमुख संसाधनों में शामिल हैं:

  • C++ Programming Language by Bjarne Stroustrup
  • C++ Primer by Stanley B. Lippman, Josée Lajoie, and Barbara E. Moo

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